Noida News: नोएडा में लगातार सूख रहा है बोरवेल , जल स्तर जा पहुंचा है 180 फीट नीचे

Noida News: भूजल में कमी होने की स्थिति अब ये है कि जहां पहले किसी क्षेत्र में 90 और 100 फीट पर पानी मिल जाया करता था वहीं पर अब 160 फीट से 180 फीट पर पानी मिल पाता है ।बोरवेल बंद होने की वजह से किसी न किसी सोसाइटी में पानी की आपूर्ति बंद हो जाती है, जिस वजह से उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ता है।

नोएडा के लगभग 100 से अधिक बोरवेल भूजल के खतरे से जूझ रहे हैं । उनके जल का स्तर लगातार कम हो रहा है। पिछले दिनों से लगातार कोई ना कोई बोरवेल सूख रहा है । इसके बाद से बोरवेल को री बोरिंग करके और गहरा किया जा रहा है। अभी तक लगभग 50 से अधिक बोरवेल की री बोरिंग की गई है। भूजल के बढ़ते हुए संकट को देखते हुए अनुमान लगाया जा रहा है कि अगर यह जल संकट लगातार ऐसे ही बढ़ता रहा तो 5 लाख फ्लैटों के निवासियों के लिए जल संकट की समस्या खड़ी हो सकती है।

पानी की मांग में है बढ़त:

ग्रेनो वेस्ट में 100 से अधिक सोसाइटी में 2 लाख से ज्यादा लोग रहते हैं। जनसंख्या के लगातार बढ़ने की वजह से पानी की मांग भी बढ़ती जा रही है ।भूजल की आपूर्ति अच्छे से हो सके इसके लिए 100 से अधिक बोरवेल बनाए गए हैं और नए बोरवेल बनाए जाने का काम चालू है। भूजल के दोहन का आलम यह है कि जहां पहले 90 और 100 फीट पर पानी मिल जाया करता था वहीं पर अब 160 फीट और 180 फीट पर पानी मिल पाता है । बोरवेल के बंद होने की वजह से किसी न किसी सोसाइटी में पानी की कमी आ जाती है। 2 साल से यह समस्या लगातार बढ़ रही है । लोगों का यह कहना है कि ग्रेनो वेस्ट में 5 लाख से ज्यादा फ्लैट तैयार होंगे जिनमें 10 लाख से अधिक लोग रहेंगे। अगर यही रहा तो ग्रेनो वेस्ट में जो संकट और अधिक बढ़ जाएगा।

पेड़ों की सिंचाई में काम आ रहा है भूजल:

पेड़ों की सिंचाई के लिए भी प्राधिकरण भूजल का उपयोग कर रहा है, जिसके लिए ग्रेनो वेस्ट में 60 मीटर रोड की ग्रीन बेल्ट में बोरवेल भी बनाए गए हैं। जबकि नियम यह है कि पेड़ों की सिंचाई एसटीपी के पानी से हो मगर प्राधिकरण ऐसा कुछ नहीं कर रहा है। जिसकी वजह से भूजल का संकट लगातार बढ़ता जा रहा है।

लगातार हो रही है बोरवेल की री-बोरिंग
भूजल के बढ़ते हुए संकट की वजह से लगातार बोरवेल की री बोरिंग की जा रही है ताकि भूजल की समस्या से निजात पाया जा सके। हाल ही में एस सिटी सोसाइटी में पानी की आपूर्ति बंद हो जाने की वजह से यह पता चला कि जिस बोरवेल से सोसाइटी में पानी आता था वह बोरवेल सूख गया था ।जिसके बाद उस बोरवेल की री-बोरिंग कराई गई। पहले यह बोरवेल 110 फिट था और अब ये बोरवेल 130 फीट पर डाला गया है । इसी तरह पाम ओलंपिया सोसाइटी के पास भी दो बोरवेल की यह बोरिंग कराई जा रही है।

जल स्तर के नीचे जाने की वजह से प्राधिकरण के बोरवेल सुख रहे हैं हालांकि भूजल की आपूर्ति के लिए बोरवेल पर कोई रोक नहीं है। भूजल संकट की समस्या को देखते हुए प्राधिकरण से लगातार बातचीत करके इस समस्या का समाधान निकालने की कोशिश की जा रही है।

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